किन पर विश्वास नहीं करना चाहिए
।। अप्रिये कृतं प्रियमपि द्वेष्यं भवती।। शत्रू द्वारा ऐसा व्यवहार जो देखने मे हितकारी प्रतीत हो,उसे दूध से भरे बर्तन के मुख पर लगे विष के समान ही मानना चाहिए।…
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।। अप्रिये कृतं प्रियमपि द्वेष्यं भवती।। शत्रू द्वारा ऐसा व्यवहार जो देखने मे हितकारी प्रतीत हो,उसे दूध से भरे बर्तन के मुख पर लगे विष के समान ही मानना चाहिए।…
मर्यादातीतं न कदाचिदपि विश्वसेत् जो व्यक्ती सामाजिक नियमो अर्थात मर्यादाओ का उल्लंघन करते है उनका कभी भी विश्वास नही करना चाहिये। प्रत्येक समाज मे कुछ नियम होते है। समाज उन…
मन से सोचे हुए कार्यो को वाणी द्वारा प्रकट नही करना चाहिये,परंतु मनपुर्वक भली प्रकार सोचते हुये उसकी रक्षा करनी चाहिये और चुप रहते हुए उस सोची हुई बात को…
|| विपश्चित्स्वपि सुलभा दोषाः || सामान्य रूप से ज्ञानी व्यक्तिओ के व्यवहार मे भी दोष निकाले जा सकते है अर्थात यदी दोष निकालने की दृष्टी से उनके व्यवहार को देखा…
सत्यमप्यश्रद्धेयं न वदेत् जिस व्यक्ति की सत्य मे श्रद्धा न हो, उस व्यक्ति को सत्य के संबंध मे कुछ कहना व्यर्थ है। चाणक्य कहते है कि जिसे सत्य अप्रिय लागता…
हरितक्रांती प्राय: हमे बताया जाता है की हरितक्रांती कि वजह से आज हम पेट भर के 2-3 time का पेट भर के खाना खा रहे है क्या यह वास्तविकता है…
जो पीठ पीछे कार्य को बिघाडे सामने होने पर मिठी बाते बनाए ऐसे मित्र को उस घडे के समान त्याग देना चाहिये जिसके मुह पर तो दूध भरा है और…
आने वाले कष्ट को दूर करने के लिये जो पहले से ही तैयार रहता है और जो विपत्ती आने पर उसे दूर करने का उपाय सोच लेता है,वे दोनो प्रकार…
यदि कोई बच्चा भी उपयोगी बात करता हो तो उसे सुनना चाहिए | अर्थात मनुष्यो को किसी भी महत्वपूर्ण बात कि उपेक्षा नही करनी चाहिये,भले ही उस बात को कहनेवाला…
मनुष्यो को अत्यंत सरल और सीधा भी नही होना चाहिए|वन मे जाकर देखों,सीधे वृक्ष काट दिये जाते है और टेढे-मेढे गांठो वाले वृक्ष खडे रहते है | मनुष्यो को अत्यंत…